उत्तर भाद्रपद नक्षत्र ज्योतिष रहस्य
आज की हमारी चर्चा उत्तर भाद्रपद नक्षत्र पर केंद्रित है। यह आकाश मण्डल में मौजूद छब्बीसवाँ नक्षत्र है जो ३३३.२० डिग्री से लेकर ३४६.४० डिग्री तक गति करता है। इस नक्षत्र को अहिर्बुध्न्य नाम से भी जाना जाता है। उत्तर भाद्रपद नक्षत्र के स्वामी शनि, नक्षत्र देवता अहिर्बुध्न्य और राशि स्वामी गुरु हैं। यदि आपके कोई सवाल हैं अथवा आप हमें कोई सुझाव देना चाहते हैं तो आप हमारी वेबसाइट पर विज़िट कर सकते हैं। आपके प्रश्नों के यथा संभव समाधान के लिए हम वचन बद्ध हैं।
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र वैदिक ज्योतिष में
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र आकाश मण्डल में मौजूद तीन तारों से बनी हुई आकृति है। इसका प्रतीक चिन्ह सर्प (पानी में चलने वाला सांप) है। इस नक्षत्र के स्वामी शनिदेव हैं और यह नक्षत्र ३.२० डिग्री से १६.४० डिग्री तक मीन राशि में गति करता है। इस नक्षत्र के देवता अहिर्बुध्न्य हैं। उत्तर भाद्रपद नक्षत्र के जातकों के जीवन पर शनि और वृहस्पति देव का प्रत्यक्ष प्रभाव देखा जा सकता है।
नक्षत्र स्वामी : शनिदेव
नक्षत्र देव : अहिर्बुध्न्य
राशि स्वामी : गुरु
पुरषार्थ : काम
विंशोत्तरी दशा स्वामी : शनि देव
चरण अक्षर : दु, झं, झा, थ
वर्ण : क्षत्रीय
गण : मनुष्य
योनि : गाय
नाड़ी : आदि
पक्षी : उल्लू
तत्व : आकाश
प्रथम चरण : सूर्य
द्वितीय चरण : बुद्ध
तृतीय चरण : शुक्र
चतुर्थ चरण : मंगल
वृक्ष : नीम
बीज मंत्र : ॐ शं ॐ सः ॐ हं
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र जातक की कुछ विशेषताएं व्जीवन
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र के जातक चुंबकीय व्यक्तित्व के स्वामी होते हैं। आप का ह्रदय शुद्ध और आचरण पवित्र होता है। आपके चेहरे पर हर समय एक मंदमुस्कान रहती है ओर एकनिश्चलता हर समय बनी रहती है। आप प्रखर बुद्धि के स्वामी और बहुत अच्छे वक्ता हैं। बहुमुखी प्रतिभा के धनि ऐसे जातकों में गजब की आकर्षण शक्ति होती है। अन्य लोग सहज ही आपकी और आकर्षित हो जाते हैं। ऐसे जातकों का व्यवहार बहुत संतुलित होते हैं। यदि एक बार आप किसी को मित्र मान लें तो आप इनके लिए किसी भी हद तक जाएंगे। आकाश तत्व होने की वजह से आपको अंदर ही अंदर खालीपन का अहसास होता रहता है। आप भली प्रकार जानते भी हैं की इस खालीपन को बाहरी चीजों से नहीं भरा जा सकता। राशि स्वामी गुरु आप में शुभ गुणों का विकास करते हैं ओर साथ ही आध्यमिकता की ओर आप का मार्ग प्रशस्त करते हैं। आप विशेष रूप से ज्योतिष शास्त्र में गहन रुचि रखते हैं और इस विषय का गहन अध्ययन भी करते हैं। आप स्वभाव से साधू हैं, किसी का बुरा नहीं चाहते, अपने काम से काम रखते हैं। आपको कुछ क्षणों के लिए अत्याधिक क्रोध आता है लेकिन जल्दी ही वह शांत भी हो जाता है। ध्यान देने योग्य है की उत्तर भाद्रपद एक क्षत्रिय नक्षत्र है और इसके मालिक शनिदेव हैं। आप दूसरों की पीड़ा महसूस कर सकते हैं, किसी को भी कष्ट नहीं देना चाहते। साथ ही यह भी सौ फीसदी सच है की ऐसे जातकों के साथ उलझने वालों को मुह की खानी पड़ती है। आपको अपने पिता से स्नेह रखते है लेकिन एक समय के बाद अलगाव की स्थितियां पैदा हो जाती हैं।
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र के जातक/ जातिका की मैरिडलाइफ
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र के जातक व्जातिका का वैवाहिक जीवन सुख दही रहता है। इस नक्षत्र की जातिकाएँ लक्ष्मी का स्वरूप होती हैं, जिस घर में जाती हैं सुख समृद्धि में वृद्धिकारक होती हैं। ऐसे जातक/जातिका के बच्चे बहुत संस्कारी व्बुद्धिमान होते हैं।
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र जातक का स्वास्थ्य
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र के जातक/जातिका सेहत के प्रति लापरवाह होते हैं। जातिकाओं को अपच, हर्निया याटी.बी. की बीमारी होने की संभावना बनती है। यदि आप का नाम चरण अक्षर से शुरू होता है तो शुभ है। ऐसा करने से आपके शरीर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह होता है जो जीवन के उतार चढ़ाव में आप को स्टेबल रखने में सहायक होता है। रोजाना बीज मन्त्र का १०८ बार उच्चारण करें आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती है, मानसिक तनाव दूर होता है, सफलता मिलने में सहायता प्राप्त होती है। नक्षत्र से सम्बंधित पेड़ से निर्मित औषधि रोगों को दूर करने में बहुत अधिक सहायक होती है।
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र जातक शिक्षा व्व्यवसाय
उत्तर भाद्रपद नक्षत्र के जातक यदि नौकरी करते हैं तो उच्चपदासीन होते हैं। इनकी तरक्की होती रहती है। यदि व्यापार करते हैं तो भी धन कमाने में निपुण होते हैं। हालांकि ये पैसे की जगह आध्यात्मिकता को अधिक बल देते हैं। ये जातक/जातिका बहुमुखी प्रतिभा के धनि होते हैं। ये वकील हो सकते हैं, कम्युनिकेशन से सम्बंधित कार्य कर सकते हैं, रिसर्चर हो सकते हैं, स्ट्रोलॉजी अथवा एस्ट्रोनॉमीया इंटरनेट सम्बन्धी प्रोफेशन में अधिकतर होते हैं।